Chia Seeds Ki Kheti: दोस्तों भारतीय किसान विभिन्न प्रकार के फसलों को उगाने के लिए जाने जाते हैं, वह रात दिन मेहनत करके कई अलग-अलग तरह के और बेहद फायदेमंद फसलों की उपज करते हैं। वर्तमान समय में किसान भाई खेती में कुछ ऐसे फसलों की खेती कर रहे हैं, जिसके खेती से उन्हें अच्छी खासी आमदनी और मुनाफा दोनों प्राप्त हो रहा है।
इसलिए अब सरकार द्वारा भी व्यापारिक फसलों की उन्नति पर ज्यादा कर दिया जा रहा है और किसानों को प्रोत्साहन देने के लिए बहुत सारे लाभ एवं सहायता भी प्रदान किया जा रहे हैं। आज हम आपको इससे संबंधित एक ऐसे व्यापारिक फसल के बारे में बताने जा रहे हैं जिसके खेती करने से आप लाखों में पैसे कमा सकते हैं। जी हां, दोस्तों आपने बिल्कुल सही समझा हम चिया सीड्स की खेती के बारे में बात कर रहे हैं। चिया सीड्स एक ऐसा फसल है जिसकी उन्नति करके किसानों को अच्छा प्रॉफिट मिलेगा। चिया सीड्स को सुपर फूडस की कैटेगरी में रखा गया है। वर्तमान समय में सुपर फूड्स (Super Foods) यानी चिया सीड्स की डिमांड और खपत बहुत बढ़ गयी है। इसलिए आज के इस आर्टिकल में हम आपको चीया सीड्स और उसकी खेती से संबंधित सभी महत्वपूर्ण जानकारियां प्रदान करने वाले हैं।
चिया सीड्स क्या है। –
चिया सीड्स एक प्रकार का सुपर फूड है, जिसमें विभिन्न प्रकार के औषधात्मक गुण निहित होती है। इसके साथ ही चिया सीड्स में ओमेगा फैटी एसिड प्रचुर मात्रा और प्रोटीन, कैल्शियम, फाइबर्स और अन्य मिनरल्स जैसे पोषक तत्व भी मौजूद होते हैं। शारीरिक एवं दिल की बीमारियों से लड़ने में चिया सीड्स मानव शरीर के लिए शक्तिवर्धक का कार्य करता है। इसलिए चिया सीड्स का उपयोग प्रतिदिन खाने में करना चाहिए। यह मानव स्वास्थ के लिए अत्यधिक गुणकारी है। चिया सीड्स के बीज बहुत ही सस्ते दामों में मिलते हैं, जो आपको आसानी से ग्रॉसरी शॉप पर मिल जाएंगे।
चिया सीड्स को सुपर फूडस की कैटेगरी में रखा गया है। वर्तमान समय में सुपर फूड्स (Super Foods) यानी चिया सीड्स की डिमांड और खपत बहुत बढ़ गयी है। इसके साथ ही विदेशों में भी लोग चिया सीड्स को अपने खाने में प्रतिदिन आहार में ले रहे है। आपकी जानकारी के लिए बता दे, कि सर्वप्रथम चिया सीड्स की खेती अमेरिका में ही की जाती थी, लेकिन इसके बढ़ते डिमांड और इससे सेहत को मिलने वाले फायदे को मद्देनजर रखते हुए। अब भारत के कई क्षेत्रों में जैसे मंदसौर और नीमच के अलावा अन्य जगहों पर चिया सीड्स की खेती (Chia Seeds Farming) की जा रही है। ये फसल रबी के समय अक्टुम्बर और नवम्बर माह में लगायी जाती है।
चिया सीड्स की खेती के लिए सही तापमान और मिट्टी।
दोस्तों वैसे तो चिया सीड्स की खेती करने के लिए सामान्य तापमान ही अनुकूल होता है। लेकिन पहाड़ी इलाकों में ठंडी जलवायु होने पर इसकी खेती नहीं करनी चाहिए। कृषि विशेषज्ञों का कहना है कि चिया सीड्स की खेती उचित जल निकासी वाली रेतीली दोमट मिट्टी में इसका उत्पादन काफी अच्छे प्रकार से होता है। हालांकि खेती तो किसी भी प्रकार के भूमि पर हो सकती है बस मिट्टी चिया सीड्स उत्पादन के अनुसार होना चाहिए।
चिया बीजों को बोने (बुवाई) का उपयुक्त तरीका
चिया सीड्स की बुवाई करने का सबसे उपयुक्त तरीका खेतों में बीजों की छिड़काव विधि है। अक्सर किसान इसी विधि का इस्तेमाल करते हैं। लेकिन बीजों की बुवाई का उपयुक्त तरीका लाइन में करना है। यदि चिया सीड्स फार्मिंग के दौरान भूमि में नमी की मात्रा की कमी है, तो हल्की सिंचाई करके खेत को बुवाई के लिए तैयार करना चाहिए।
चिया सीड्स फार्मिंग हेतु बीजों की बुवाई 30 सेंटीमीटर की दूरी पर 1.5 सेमी की गहराई में करना उपयुक्त मन जाता है। ऐसा करने से चिया के बीज अंकुरण होने में आसानी रहती है। यदि आप चिया सीड्स को एक एकड़ के खेत में बुवाई कर रहे है, तो इसके लिए आपको क़रीब 1 से 1.5 किलोग्राम चिया के बीजों का छिड़काव करना होगा। इतना ही नही बीजों को बुवाई से पहले केप्टान या थीरम फफूंदनाशक की 2.5 ग्राम की मात्रा से एक किलोग्राम बीज को उपचारित किया जाता है, ताकि बाद में बीजों के जड़ को गलने से बचाया जा सकें।
Chia Seeds Ki Kheti में खाद्य एवं उर्वरक की आवश्यकता
चिया की खेती करने के लिए सबसे पहले खेत की मिट्टी का परीक्षण करना अतिआवश्यक है। फिर उसमें खाद व उवर्रक को प्रचुर मात्रा में डालना चाहिए। यदि आपको चिया के बीजों का अच्छा उत्पादन करना है तो उसके लिए प्रति एकड़ के खेत में करीब 10 टन सड़े गोबर की खाद या वर्मी कम्पोस्ट खाद को डाल कर ही खेत की जुताई करवाना चाहिए। इसके अतिरिक्त प्रति एकड़ के खेत में 40:20:15 के अनुपात में सामान्य उवर्रक वाली N.P.K. की मात्रा का छिड़काव भी अवश्य कराये। इसके बाद बुवाई के 30 से 60 दिन बाद नाइट्रोजन की दो बराबर मात्रा का छिड़काव भी आवश्यक रूप से करना होता है।
Chia Seeds Ki Kheti में सिंचाई प्रबंधन
दोस्तों वैसे तो चिया सीड्स की खेती के समय उसके पौधों को किसी भी प्रकार की सिंचाई की कोई आवश्यकता नहीं होती है, क्योंकि चिया के पौधे बहुत कमजोर होते है। यदि उसमे अधिक पानी की मात्रा डाली जाएगी तो पौधों के टूटने का खतरा सबसे अधिक होता है। इसलिए इस बात का पूरा ध्यान रखना चाहिए कि चिया के फसल में जल भराव बिल्कुल भी न होने दें, और पहले से ही उचित जल निकासी वाली भूमि में चिया सीड्स की बुवाई करें।
चिया सीड्स की कटाई
चिया के बीजों की बुवाई करने के पश्चात करीब 110 से 115 दिन बाद चिया सीड्स पक जाते हैं जिसके बाद यह कटाई के लिए एकदम तैयार रहते हैं। कटाई के दौरान चिया के पौधों को भूमि से पूरी तरह से जड़ से उखाड़ लिया जाता है और 5 से 6 दिन तक उसे धूप में अच्छी तरह से सूखाया जाता है। सूखने के उपरांत चिया के पौधों को थ्रेशर मशीन के द्वारा उनके बीजों को निकाल करके उन्हें अलग कर दिया जाता है।
Chia Seeds Ki Kheti से होने वाले मुनाफे
अगर हम चिया सीड्स की खेती से होने वाले मुनाफे कि बात करें तो यदि आपने एक एकड़ के खेत से लगभग 5 से 6 क्विंटल चिया सीड्स तक का उत्पादन किया है तो आपने बहुत अच्छा खासा मुनाफा कमा लिया है। आपको बता दे, चिया के बीजों को बाज़ार लगभग 1 हज़ार रुपए प्रति किलो तक बेंचा जाता है, तो किसानों को चिया सीड्स की एक एकड़ की फसल से करीब करीब 5 से 6 लाख रुपए तक का मुनाफा मिल सकता हैं।
निष्कर्ष –
दोस्तों आज के इस आर्टिकल में हमने आपको चीया सीड्स से संबंधित सभी महत्वपूर्ण जानकारियां को प्रदान करने कि कोशिश की है। उम्मीद है आपको हमारा आज का ये आर्टिकल बेहद पसंद आया होगा। ऐसे ही ज्ञानवर्धक आर्टिकल को पढ़ने हेतु जुड़े रहिए हमारे साथ धन्यवाद।